तो दोस्तों आज मैं आप लोगों के साथ साझा करने वाला हूं, आप की कमी शायरी इन हिंदी (Aap Ki Kami Shayari) का संपूर्ण कलेक्शन जो की आप लोगों को काफी पसंद आएगा।
आप की कमी शायरी अगर आप लोग ढूंढ रहे हो तो आप सही जगह पर आए हो मेरे दोस्त क्योंकि यहां पर हमने ऐसे ही बहुत सारी शायरियां का कलेक्शन करके रखा है।
आप की कमी शायरी आप क्यों ढूंढ रहे हो मुझे बताया क्या किसी की कमी को महसूस कर रहे हो आप उसे स्पेशल इंसान की कमी को जरूर से महसूस कर रहे हो इसलिए आप इस तरह की शायरियां ढूंढ रहे हो।
अगर आप किसी की कमी महसूस कर रहे हो तो आप नीचे स्क्रॉल करके जाइए और ऐसे ही बहुत सारी शायरियां पढ़ लीजिए कोई ना कोई शायरी आपके दिल को जरूर छू जाएगी।
आप की कमी शायरी इमेजेस
होठो पे हंसी और आंखो मे नमी है।
रूह भी कहती आप की ही कमी है,,
मुझे आप की ही कमी है।
आप की कमी खलती है मुझे,
ये खालीपन तड़पता है।
बस यूही यादे दिल मे समेटे,
मेरा वक़्त गुज़रता हैं।
जिंदगी की किताब में कुछ पन्ने,
जोड़ने की कोशिश कर रहा हूं।
कुछ कहानियां अभी है बाकी,
लिखने की कोशिश कर रहा हूं।
अफवाह उड रही है।
मेरे पागल होने की,
किसी को क्या पता,
मुझे इश्क़ हो रहा है।
उस एक फोन नंबर की कमी,
आन भी खलती हैं जिससे।
मन हल्का करने के लिए बात की जा सके,
जिसके फुरसत के लम्हों में।
तुम अपने दर्द को घोल सको,
जो बिखरने पर तुम्हें समेट कर थाम ले।
तलाश कर मेरी कमी को अपने दिल में एक बार,
दर्द हो तो समझ लेना अभी बाकी हैं,,
हमारे बीच कुछ रिश्ता है।
कोई भूल थी अगर मेरी तो एक दफा कहते मुझे,
ऐसे अकेला छोड जाना कोई अच्छी बात नही।
ज़िन्दगी के इस दौर में मेरा अपना अब कोई नहीं,
जो था वो अब इस दुनिया में रहा नहीं।
मेरी हर ख़ामोशी को वो समझते थे,
मुझे हमेशा जीतने की वो हिम्मत दिया करते थे।
जाते जाते वो अपने जाने का गम दे गये,
सब बहारें ले गये रोने का मौसम दे गये।
Aap Ki Kami Shayari Images
दिल में बहुत दर्द है डॉक्टर के पास गया,
डॉक्टर ने आप की कमी बताई।
ये कसक दिल की दिल में चुभी रह गई,
जिंदगी में तुम्हारी कमी रह गई।
एक मैं एक तुम एक दीवार थी,
जिंदगी आधी-आधी बँटी रह गई।
– बशीर बद्र
तुझे अगर मेरी जिंदगी में शामिल होना है,
तो अपनाओ मुझे मेरी हर कमी के साथ।
अगर रातों को जागने से होती ग़मों में कमी,
तो मेरे दामन में खुशियों के सिवा कुछ नहीं होता।
आ कि तुझ बिन इस तरह ऐ दोस्त घबराता हूँ मैं,
जैसे हर शै में किसी शै की कमी पाता हूँ मैं।
कौन है, जिसमे कमी नहीं है,
आसमां के पास भी, ज़मीं नहीं है।
ज़ख़्म देने की आदत नहीं हमको,
हम तो आज भी वो एहसास रखते हैं।
बदले बदले से तो आप हैं जनाब,
जो हमारे अलावा सबको याद रखते हैं।
झूठे हैं वो जो कहते हैं हम सब मिट्टी से बने हैं,
मैं कई अपनों से वाकिफ़ हूँ जो पत्थर के बने हैं।
हर किसी के नसीब में कहा लिखी होती हे चाहते,
कुछ लोग दुनिया में आते हे सिर्फ तन्हाइयों के लिए।
बिना तेरे न जाने ये आँखे क्यों अब जलने लगी है,
खुशियों ने मुँह मोड़ लिया है हमसे,,
साली अब आप की कमी खलने लगी है।
मेरी खुशमिजाज जिन्दगी में आप की कमी का रोना है,
तेरे बगैर क्या जी पाउँगा न जाने अब आगे क्या होना हैI
ये कमियां आप की मुझे डराती है,
अंदर ही अंदर मुझको जलाती है।
ये कमियां मुझे हर पल सताती है,
भूलूँ जितना उतना और याद आती है।
आप की कमी को अब में मिटाऊँ कैसे,
बीत गए उन पलों फिर से लाऊँ कैसे।
तेरा करूं इंतजार या मिटा दूँ जिंदगी,
बोल भी दो अब तुझे भुलाऊँ कैसेI
कमी से उनकी अब ये जिन्दगी पहाड़ लगती है,
इस अकेली जिन्दगी में अब तो,,
घड़ी की आवाज भी मुझको दहाड़ लगती है।
आप की कमी को दिल में दबाये न जाने क्या क्या कर रहा हूँ,
कहने को तो हूँ जिन्दा लेकिन पल पल कर में मर रहा हूँ।
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सुनो ना…!
आ जाओ इन बारिश की बूंदो में समां कर,
ये दिल नहीं लगता तुम्हारे बिना।
देगा करके मुस्कुराना ही है,
तो मत कर यह फ़िज़ूल के वादे।
तू थोड़ी से आस देकर,
मेरी पूरी ज़िन्दगी नीलम कर देगा।
माना आपको प्यार की कदर नहीं थी,
दिल तो रख लिया होता।
इतनी जल्दी भूल गए उस प्यार को,
अरे थोड़ा सब्र तो कर लिया होता।
उसकी जुदाई को लफ़्ज़ों में कैसे बयां करे,
वो रहता दिल में, धड़कता दर्द में,और बेहटा अश्क़ में है।
कुछ तो बात थी उनकी बातो में,
वरना बात न होती।
अगर मन कर दिया होता उससे मिलने को,
तो एहसास-ए-तकलीफ ना होती।
Kami Shayari
कैसे सुनाऊ में दर्द ए दास्ताँ दिल की,
किसी ने मैसेज करने ही मना किया है।
सब कुछ मिला था मुझे मेरी पसंद का,
मुरशद मगर वो हक़ीक़त नहीं ख्वाब था मेरा।
हम दोनों अपनी ज़िद पर है,
वो मुझे याद करना नहीं चाहती।
और में उसे भुला नहीं पा रहा।
आज सपने में तुम्हे देखा,
हमसे ही बहुत खफा देखा।
अब हमसे जो नज़रे चुराने लगे हो तुम,
इस कारण तुमको, अब खुद से ही जुदा होते देखा।
इस नादान ज़िन्दगी में,
एक अनजान ने बहुत कुछ सीखा दिया।
चोट लगने पर रोते थे,
अब जख्मो में भी मुस्कुरा रहे है।
तस्वीर बसी है दिल मे जो,
जीने का हौसला देती है,
इसी तरह से बस अब तो,
ये वक़्त गुज़र जाता है।
जिन्दगी तो मेरी कट रही है,
आपके बाद भी जिन्दगी तो मेरी कट रही है,,
आपके बाद भी मगर आप के बिन जीने में वो बात नहीं।
काश उस वक्त में समझ पाता की आपका गुस्सा करना,
गुस्सा करना नहीं बल्कि अपना पन जताना था।
जब किसी मुश्किल सवाल का जवाब हो न पता,
तब याद आतें है मुझे अपने प्यारे पिता।
हर डाट मे प्यार जो रहता था,
वो याद बहुत अब आता है।
हर बिता लम्हा अब तो बस,
आँखों मे आंसू लता है।
किसी की कमी शायरी
यू तो दुनिया के सारे दर्द हंस कर झेल लेता हूं,
मगर जब भी आपकी याद आती है,,
आंखों में आए आंसुओं को रोके नहीं पाता हूं।
चाहतों में मेरी ही कोई न कोई कमी ज़रूर थी,
जो जाते वक्त एक बार भी पलट के ना देखा उसने।
मेरी ख़ामोशी को तुम मेरी बेबसी मत समझना,
तनहाईयाँ पसंद है अब मुझे, इसे अपनी कमी मत समझना।
तुम्हारे दिए हर दर्द पर मुस्कराते ही रहेंगे,
भले ही तुम मेरी आँखों में नमी ढूँढते रहना।
मुझे तुमसे कल भी मोहब्बत थी और कल भी रहेगी,
भले ही तुम मुझमें कितनी भी कमी ढूँढते रहना।
आप जिसको चाहेंगे वो महस आपकी खूबियों को ही चाहेगा,
मगर जो आपको चाहेगा वो आपकी कमियों को भी चाहेगा।
सूरज ढल रहा है अर साथ सबकुछ ढल रहा है,
पर तुमसे मिलन कि उम्मीद अब भी मेरे सीने में जल रहा है।
की मुझको मिल गया सब कुछ,
पर आज भी एक आप की कमी मुझे खल रहा है।
मुझे तनहाई इस कदर अच्छी लगती है,
ग़र तनहा ना रहूँ कभी तो कुछ कमी सी लगती है।
कमी ती कुछ नहीं फिर भी,
सब कुछ पूरा हौकर,सब अधूरा सा लगता है।
कमी ती कुछ नहीं फिर भी कमी सी लग रही है।
बिन तेरे आंखो मे नमी सी लग रही है,
कमी तो कुछ नहीं फिर भी कमी सी लग रही है।
जिंदा तो है पर जीने में वो बात नहीं लग रही है,
कमी तो कुछ नहीं फिर भी कमी सी लग रही है।
कमी तो होनी ही है पानी की,शहर में,
न किसी की आँख में बचा है,,
न किसी के जज़्बात में।
आपकी कमी हमेशा रहेगी
सच्चा दोस्त वही है जिसे देखकर Maa बोल पड़े,
आ गया कमीना, इसी ने मेरे bete को बिगाड़ रखा है।
ऐसे तो उससे मोहब्बत में कमी होती है,
माँ का एक दिन नहीं होता है सदी होती है।
कुछ तो बात थी उनकी नज़रो मैं,
वरना मोहब्बत युही ना होती।
दिल हमारा भी लगा रहता अगर तेरे,
दूर जाने की कमी ना होती।
इस मासूम भरी जिंदगी मैं एक अजनबी,
बहुत कुछ सीखा के गया।
पहले दिल चोट लगने से ही रोता था,
अब ज़ख्मो पर भी मुस्करा गया।
तुम्हारी दिल्लगी देखो हमारे दिल पर भारी है,
तुम तो चल दिए हंसकर यहाँ बरसात जारी है।
इजाजत तो हमने भी ना दी थी,
उससे मोहब्बत की।
बस वो नजरों से मुस्कराते गए,
और हम दिल से हार गए।
फूल कभी दो बार नहीं खिलता,
यह जन्म बार-बार नहीं मिलता।
जिंदगी में तो मिल जाते हैं,
हजारों लोग मगर दिल से चाहने वाला,,
बार-बार नहीं मिलता।
नजदीकियां तो गैरों में नापी जाती हैं,
आप तो हमारे “अपने हैं।
और अपने तो हमेशा दिल में बसते हैं,
सांसों में खेलते हैं और तो और रगों में दौड़ते हैं।
जितनी बार आइना देखते है,
उतनी बार तुम याद कर टूटे है।
गर्मियों में बरसात हो सकती है,
मगर बिना दर्द के मोहब्बत कभी नहीं।
आपकी कमी हमेशा महसूस होगी
किसी से दूर होने का एहसास बताता है,
तुम उससे कितना करीब हो।
आज कल परछाइयों से पूछता हु,
खुद का पता,,
तेरे इश्क़ में कही खो गया हूँ।
जैसे कल थी वैसे ही आज हो क्या,
तुम अब भी मुझसे नाराज़ हो क्या।
वो मेरा होगा तो कभी न कभी मिल ही जायगा,
और अगर न मिला तो वो मेरा कभी था ही नहीं।
आँखे कहती है की रुक जा रे किसी पनाह पे,
कब तक ऐसे ही रोयेगा।
ज़िद छोड़ दे राहे ताकने की उसकी,
देखना फिर चैन से सोयेगा।
लोग कहते है इश्क़ से ज़िन्दगी बिखर सी जाती है,
पर हम कहते है इश्क़ से ज़िन्दगी निखार सी जाती है।
मैं तो टूटकर बिखरने वाला ही था,
तेरे इश्क़ ने ही तो निखारा है मुझे।
तलाशता रहा आप की शख्सियत का वजूद तुझसे जुदा होने के बाद,
शायद कभी तन्हाइयो में मिल जाये आप की मौजूदगी का एहसास।
दिल के हर कोने में है आपके होने का आभास,
गालों पर आपके हाथों की वह थपकी।
दूर रहकर भी कराती है,
आपके पास होने का एहसास।
आप कि मुश्किलों का,
मुझे अब एहसास होता है।
दुनिया होती है मतलबी और,
घर का हर एक शक्श ख़ास होता है।
Kami Shayari In Hindi
छोड़कर निशानियां सबके दिल में हजार,
वो भी चले गए वक्त की तरह।
आपका साया मुझे हमेशा,
हर मुसीबत से बचाता रहा हैं।
आज आपके ना होने की वजह से,
मेरी जिंदगी में अकेला पन छा गया है।
कमी तो सब में होती है,
उसे सुधारना सीखो।
जो गलतियां हुई हो,
उसका विश्लेषण स्वयं करो।
कमी ती कुछ नहीं फिर भी सब कुछ है,
पास मेरे, एक मशहूर किताब हूँ मैं।
दौलत, शीहरत की दुनियां में लाज़वाब हूँ मैं,
दिखावे की झूठी जंजीरीं से आजाद हूँ मैं।
कमी ती कुछ नहीं, फिर भी बर्बाद हूँ मैं।
कमी तो कुछ नही फिर भी,
आंखों की नमी हर दम कहती हैं,,
तुम होते तो जिंदगी अधुरी ना होती।
कमी तो कुछ नही फिर भी तेरा साथ,
तेरा एहसास तेरा प्यार,,
तेरा दुलार हर पल सताता है।
उनके चाहने वाले इतने हो गए थे,
कि उन्हें एहसास ही नहीं होती थी,,
हमारी कमी की।
जिस्म मर जाते अक्सर रूह नहीं मरती,
किसी के चले जाने दुनियां नहीं रुकती।
आते जाते है लोग इस जहां की असूल-ए-जिंदगी में,
पर जाने वाली की कमी कभी नहीं भरती।
लाखों मिल जाएंगे तुझे बहुत सी महफ़िलों मे,
पर वो मेरी नाजुक सी कमी तुझे खटकेगी जरूर।
आज कल दर्द की कमी सी लग रही है,
फिर भी आंखीं में नमी सी लग रही है।
खुद की कमी पर शायरी
होंठो की हंसी और आँखों की नमी हो तुम,
जिसे शब्दो में बयाँ करना नामुमकिन है।
मेरी ज़िन्दगी की वो एक इकलौती कमी हो तुम।
मैंने हर अच्छाईयाँ ढूढा खुद में बस रह गई,
तो इक कमी वो सिर्फ आप हो जो मुझ में नहीं हो।
तुम मेरे लिए धुप की वो किरण हो,
जो “vitamin D” की कमी पूरा करती हैं।
न प्रेम की कमी है न मय की कमी है,
पास मेरे बस समय की कमी है।
आप किसी के लिए अपना सबकुछ दाँव लगा देते है,
और उनके पास आपके लिए वक़्त तक नही होता।
कसूर तो बस किस्मत का रहा,
ख़ता ना उनकी रहीं ना हमारी।
उन्होंने अकेले जीना सीख लिया,
और हमने ग़म पीना सीख लिया।
आख़िर उसने कह दिया,
जो दिल के किसी कोने में था पनप रहा।
आख़िर उसने कह दिया,
जो मुस्कुराहट के पर्दों में था छिपा।
न गिला न शिकवा न कोई सितम,
जो मेरा ज़हन को खबर थी।
ये सफ़र मुकम्मल नहीं होना था।
रोया ना करो हल्का मुस्कुराया करो,
छोड़ते वक़्त बुरे ना भी हो तो बन जाया करो।
रोक दो मेरे जनाज़े को ज़ालिमों,
मुझ में जान आ गयी है।
पीछे मुड़ के देखो कमीनो,
दारू की दुकान आ गयी है।
रब ना करें इश्क़ की कमी किसी को सताए,
प्यार करो उसी से जो तुम्हें, दिल की हर बात बताये।
Kisi Ki Kami Shayari In Hindi
सिर्फ बेचैनीयाँ लिखी जाती हैं दिल की,
लफ्जों से पूरी कहा होती है कमी सनम आप की।
बस इबादत में कमी है ज़नाब,
वरना ख़ुदा तो हर जग़ह मौजूद है।
रो रहा है सफ़र मेरा, बस इक इल्तज़ा सुन ले,
आप की कमीज से चेहरा पोंछे मुझे इक जमाना हुआ।
मैंने तो दवा समय पर की थी,
आप की दुआओं में ही कमी थी।
लबों पर कुछ हँसी और आँखों में कुछ नमी दे गया,
ये साल जाते-जाते कुछ कामयाबी तो कुछ आप की कमी दे गया।
सफ़र जितने भी थे सब यादगार रहे,
कमी रही तो सिर्फ एक हमसफ़र की।
पढ़ने वालों की कमी हो गयी है आज इस ज़माने में,
नहीं तो गिरता हुआ एक-एक आँसू पूरी किताब है।
तुम याद नही करते, हम तुम्हे भुला नही सकते,
तुम्हारा और हमारा रिश्ता इतना खूबसूरत है।
तुम सोच नही सकते, हम बता नही सकते।
काश कोई हम पर भी इतना प्यार जताती,
पीछे से आकर वो हमारी आँखो को छुपाती।
हम पुछ्ते की कौन हो तुम..??
और वो हस कर खुदको हमारी जान बताती।
मोहब्बत की खुली किताब के कुछ पन्नो,
को जोड़ने की कोशिश कर रा हु।
कहानियां कुछ रह गयी है ज़िन्दगी की,
बाकी लिखने की कोशिश कर रहा हूं।
चूम लेता हूँ हर मुश्किल को अपना मान कर मैं,
क्यूँकि ज़िन्दगी कैसी भी है, है तो मेरी ही।
तुम मेरी होगी तो जरूर मिल जाओगी,
अगर ना मिले तो ये मेरी चाहत की ही कमी होगी।
तेरा साथ मुझे ज़िन्दगी भर नही चाहये,
हा मगर जब तक तू साथ है तब तक ये ज़िन्दगी चाहये।
इश्क करने का हुनर हर किसी को कहा आता है,
हुस्न पर फिदा होकर लोग उसे ही मोहब्बत कह देते है।
बस हर पल तुझे ही इतनी सिद्दत से देखा मैंने,
बस तेरे ना होने की कमी के आगे कुछ नही देखा मैंने।